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GANDHI KE MANAGEMENT SOOTRA   

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Author Mamta Jha
Features
  • ISBN : 9789380839523
  • Language : Hindi
  • Publisher : Prabhat Prakashan
  • Edition : Ist
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  • Kindle Store

More Information

  • Mamta Jha
  • 9789380839523
  • Hindi
  • Prabhat Prakashan
  • Ist
  • 2018
  • 176
  • Hard Cover

Description

गांधीजी जिज्ञासु स्वभाव के व्यक्ति थे। यही नहीं, उनमें सीखने की ललक थी। इन प्रवृत्तियों ने उनमें अवलोकन का वरदान सहज ही उत्पन्न कर दिया था। वे हर दृष्टि से बात को परखते थे। कार्यकुशल व सफल व्यवस्थापक बनने की पात्रता के लिए दक्ष संगठक, प्रभावी वक्ता, समर्पण, कर्तव्य-निष्ठा, सच्चाई आदि गुण नितांत आवश्यक हैं। गांधीजी के जीवन का प्रमुख उद्देश्य देश की स्वतंत्रता था। उनमें मनुष्य के मनोविज्ञान को समझने की असीम क्षमता थी। वे इस बात से भली-भाँति परिचित थे कि किसी भी उद्देश्य की पूर्ति के लिए भारतीय जन हिंसा का मार्ग कदापि नहीं अपनाएँगे। इस कारण उन्होंने स्वयं को बदला और ऐसे काम किए, जो पहले कभी नहीं हुए थे। उनकी जीवन-गाथा ने एक बार फिर मार्केटिंग में सफल होने के गुरों को उजागर किया।
गांधीजी का मैनेजमेंट जरा भी कठिन नहीं है, इसे सहज ही अपनाया, आत्मसात् कर व्यवहार में लाया जा सकता है। सरलता से, समयबद्ध ढंग से सभी काम करना, परस्पर मान-सम्मान बाँटना, किसी का हक नहीं छीनना इत्यादि नैतिक गुण मैनेजमेंट के आधार-स्तंभ हैं।
इस पुस्तक में महात्मा गांधी के जीवन से प्रतिबिंबित होनेवाले मैनेजमेंट सूत्रों का चित्रण किया गया है, जो हर पाठक को जीवन की चुनौतियों से जूझने की शक्ति प्रदान करेंगे।

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अनुक्रम

भूमिका — Pgs. 7

1. महात्मा गांधी एक परिचय — Pgs. 13

2. एक विलक्षण मैनेजमेंट गुरु — Pgs. 73

3. गांधीजी का ब्रांड चरखा — Pgs. 77

4. गांधी आज भी हैं! — Pgs. 81

5. गांधीजी के आर्थिक विचार आज के संदर्भ में — Pgs. 92

6. प्रबंधन कला और महात्मा गांधी — Pgs. 94

7. कुशल मैनेजमेंट गुरु — Pgs. 99

8. बीसवीं सदी के सबसे बड़े मैनेजमेंट गुरु — Pgs. 102

9. आज भी प्रासंगिक हैं गांधीजी के विचार — Pgs. 104

10. जो कमजोर हैं, उनका साथ दें — Pgs. 106

11. सुधारों पर भरोसा रखें — Pgs. 108

12. सीखने की कोई उम्र नहीं होती — Pgs. 110

13. गांधीजी के विचारों की कालजयिता — Pgs. 112

14. मितव्ययिता और अपरिग्रह के सूत्र — Pgs. 114

15. गांधीजी के गुरु मंत्र — Pgs. 117

16. गांधीजी के जीवन-प्रसंगों में प्रतिबिंबित मैनेजमेंट सूत्र — Pgs. 127

17. मैनेजमेंट गुरु के रूप में गांधीजी के अनमोल विचार — Pgs. 152

18. महात्मा गांधी के जीवन से संबंधित कार्यक्रम — Pgs. 171

संदर्भ — Pgs. 176

The Author

Mamta Jha

जन्म : 13 जनवरी, 1973 को सरीसाब पाही (मधुबनी), बिहार में।शिक्षा : हिंदी में स्नातकोत्तर।
कृतित्व : लेखिका ने आत्मविकास, समसामयिक विषयों पर पुस्तकें और अनेक महापुरुषों की जीवनियाँ लिखी हैं। पत्र-पत्रिकाओं में नियमित स्तंभ भी प्रकाशित।

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